Driving Licence: RTO जाकर ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने की झंझट खत्म, घर बैठे बनवाए यहां से।

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Driving Licence – ड्राइविंग लाइसेंस पूरे देश भर में एक महत्वपूर्ण दस्तावेज है। जिसे विशेष रूप से व्यक्ति है इस्तेमाल करते हैं जिसे अपनी कार या बाइक के द्वारा अपने क्षेत्रीय देश के कई हिस्सों पर जाते हैं। उन्हे Driving Licence की आवश्यकता पड़ती है।

Driving Licence बनवाने के लिए अपने क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय ( RTO Office) के चक्कर लगाना पड़ता था। इसके अलावा आरटीओ कार्यालय के बाहर लंबी लाइन भी लगानी पड़ती थी। आवेदन जमा करने के बाद आपको ड्राइविंग टेस्ट से गुजरना पड़ता था। सामान्य तौर से RTO के नियमों में काफी बदलाव किए गए हैं।

यदि आप भी भारत के निवासी हैं और ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने की जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं तो हम इस आर्टिकल में घर बैठे ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने की पूरी प्रक्रिया की जानकारी देंगे जिसमें सभी राज्यों के लिए अलग-अलग आवेदन प्रक्रिया हो सकती है। इस आर्टिकल में आपको बिहार से संबंधित आर्टिकल प्राप्त होगी।

Driving Licence के लिए टेस्ट की जरुरत नहीं

आपको बता दें कि इस बदले नियम के अनुसार फिलहाल ड्राइविंग लाइसेंस लेने के लिए आपको आरटीओ ऑफिस के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। इन तरीकों को अब केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के द्वारा लागू किया गया है। जो भी लोग ड्राइविंग लाइसेंस के लिए अप्लाई करना चाहते हैं उन्हें काफी मदद मिलेगी।

Driving School जाओ और ड्राइविंग सीखें

केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के द्वारा निर्देश जारी किया गया है कि अब ड्राइविंग लाइसेंस लेने के लिए आपको आरटीओ कार्यालय के बजाय ड्राइविंग स्कूल जाने की आवश्यकता पड़ेगी। आप किसी भी नजदीकी ड्राइविंग स्कूल जाकर अपना नामांकन करा सकते हैं।

 

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Driving Licence

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जहां आपको मोटर व्हीकल चलाने की जानकारी दी जाएगी। साथ ही आपको Driving Licence बनवाने के लिए कार्यालय के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। आपके Dl से संबंधित कार्य Driving Schools के द्वारा पूरा कर दिया जाएगा।

Driving Licence के ये है नए नियम

Driving School के पास शिक्षण केंद्र के लिए पर्याप्त व्यवस्था होनी चाहिए। इसके अलावे संस्थान का मेंटल जो की 12 वीं पास होना आवश्यक है। उसके पास ड्राइविंग लाइसेंस कम से कम 5 साल पुराना होना चाहिए। तथा मेंटर को यातायात नियमों से परिचित होना भी आवश्यक है।

सेवा ने एक शैक्षणिक कार्यक्रम को बनाया है जिसमें 1 महीने का कोर्स हल्के वाहन के लिए तथा 21 घंटे डाउन हिल ड्राइविंग वगैरह के लिए दिया जाता है। इस आर्टिकल को पूरा पढ़ने के बाद कमेंट जरूर करें।

Driving Licence की एसी होगी प्रोसेस

अपने ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए लोगों को अपने नजदीकी ड्राइविंग ट्रेनिंग सेंटर में अपना नामांकन कराना होगा। ड्राइविंग स्कूल के द्वारा आयोजित ट्रेनिंग में भाग लेना आवश्यक है। एक बार टेस्ट क्लियर हो जाने के बाद केंद्र सरकार के द्वारा एक प्रमाण पत्र जारी किया जाएगा। जिसके जरिए आप ड्राइविंग लाइसेंस के लिए आवेदन आरटीओ के वेबसाइट पर कर सकते हैं। जिससे बिना किसी प्रशिक्षण के आपका Driving Licence जारी कर दिया जाएगा।

हम Driving Licence के नए नियमों के बारे में कैसे जानते हैं।

सड़क एवं परिवहन मंत्रालय के तरफ से ट्रेनिंग स्कूल के संबंध में कुछ नियम व शर्तें लागू किए गए हैं। ड्राइविंग स्कूल में ट्रेनिंग के दौरान बाइक तिपहिया वाहन हल्के इंजन वाले वाहन के लिए केंद्र द्वारा निर्देशित किया गया है की भूमिका लगभग एक खंड होना चाहिए। मध्यम और वजन वाले यात्री वाहन या डिजाइनर के लिए कम से कम जमीन के दो हिस्से के बीच पास ही ड्राइविंग लाइसेंस सेंटर चला सकते हैं।

ड्राइविंग ट्रेनिंग सेंटर  बारहवीं कक्षा पास होना आवश्यक है उस संरक्षण को कम से कम 5 वर्ष का ड्राइविंग अनुभव तथा यातायात के नियम की जानकारी होनी चाहिए।

और नियम भी बताया गया है जिसमें ट्रेनिंग स्कूल में हल्के इंजन वाले वाहन चालक के लिए इंस्ट्रक्शन क्लास चलाई जाती है। ट्रेनिंग कोर्स की अवधि 1 माह की होगी जिसमें लगभग 29 घंटे तक क्लास चलेगी।

लोगो से कहा जाएगा कि पक्की सड़क देहाती सड़क ट्रूवे शहरी सड़क स्विचिंग स्पॉटिंग ड्राइविंग डाउन हिल ड्राइविंग और सड़क की सजावट के एक छोटे हिस्से की तैयारी के लिए लगभग 8 घंटे की तैयारी के बारे में बताया जाएगा। निर्देश दुर्घटना के कारणों को समझना चिकित्सा सहायता ड्राइविंग की समाज आदि जरूरी जानकारी दी जाएगी।

इन तरीकों से घर बैठे बनवाए Driving Licence

नए नियम के तहत बिना टेस्ट के ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए आपको किसी भी मान्यता प्राप्त ड्राइविंग स्कूल से ट्रेनिंग लेना होगा। इन मानता प्राप्त ट्रेनिंग स्कूल की 5 साल की वैधता होती है जिसके बाद उन्हें रिनुअल करना होता है। इन सेंटरों पर ट्रेनिंग पूरी करने के बाद ट्रेनिंग स्कूल द्वारा परीक्षा आयोजित की जाती है जिसे पास करना होगा। इसके बाद एक Certificate जारी किया जाएगा जिसके आधार पर RTO की ओर से ड्राइविंग लाइसेंस जारी कर दी जाती है।

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